आजमगढ़:जमीनी विवाद में घायल युवक की इलाज के दौरान हुई मौत , परिजनों ने विवादित जमीन में बने मकान पर प्रशासन से बुलडोजर चलवाने की रखी मांग,गौरी गांव में पहुंचकर वापस लौटा बाबा का बुलडोजर
रिपोर्ट:सुमित उपाध्याय
अहरौला/आजमगढ़:अहिरौला थाना क्षेत्र के गौरी गांव में बीते 21 दिसंबर की रात में हुई मारपीट में घायल युवक की इलाज के दौरान शहर के एक निजी नर्सिंग होम में शनिवार को दिन में 11 बजे मौत हो गई। शव को पोस्टमार्टम के लिए लाया गया। मृतक का नाम उपेंद्र राजभर है। मृतक के पट्टीदार से भूमि का विवाद है। कोर्ट में मामला स्टे होने के बाद भी साजिश के तहत रुक रुक कर रात रात में विवादित भूमि पर घर का निर्माण कराया जा रहा था। इसी क्रम में 21 दिसंबर को पीड़ित ने पुलिस को सूचना दी कि विपक्षी के घर में 10 लोग इकट्ठा हैं और अपराधिक प्रवृत्ति के हैं। पुलिस ने वीडियो बनाकर भेजने को कहा। । उपेंद्र राजभर समेत अन्य लोग वीडियो बनाने गए थे। तभी विपक्षियों ने हमला कर दिया। जिसके चलते उपेंद्र एवं उसकी बहन नीलम समेत करीब 6 लोग घायल हुए थे। उपेंद्र कोमा में चला गया था। जिला अस्पताल से रेफर होने के बाद शहर के एक निजी नर्सिंग होम में भर्ती कराया गया था। जहां पर मौत हुई। मौत के बाद परजनो ने जोर दार हंगामा किया और शव का अंतिम संस्कार करने से तब तक मना कर दिया जब तक आरोपीयों का घर नहीं गिरता है और उनको कड़ी से कड़ी सजा नही मिलती परिजन इसी शर्त के साथ प्रशासन के सामने अड़े रहे प्रदेश में कमजोर एवं गरीबो को तात्कालिक न्याय दिलाने का सबसे मजबूत भरोसेमंद एवं विश्वसनीय हथियार बन चुका बाबा का बुलडोजर इन परिजनों को न्याय दिलाने के लिए भी गौरी गांव में पहुंचा लेकिन वहां राजस्व की टीम ना होने के कारण उसे बिना मकान गिराए ही वापस आना पड़ा पुलिस और गांव के लोगो के द्वारा बहुत समझाने और उचित कार्रवाई का आश्वासन देने के बाद परिजन रात करीब 7 बजे शव का अन्तिम संस्कार करने के लिए ले गए ।।वही इस मामले में पुलिस के द्वारा कुल 6 लोगो पर मुकदमा दर्ज किया गाया है और जिसमे से 4 लोग हिरासत है विकास उर्फ़ गुलाब ,केवल , शनि , हरिश्याम और मुख्य अपराधी चंद्रकला पत्नी रामजियावन व ज्योति अभी भी पुलिस की गिरफ्त से बाहर है ।